Monday, September 21, 2009

मेरे साथ चल !!!

ये जिंदगी है कुछ एक पल...
जो तू चल सके तो मेरे साथ चल...

तेरी बाहों में हो जो मेरा जहाँ...
गम का वहां फ़िर न होगा निशाँ..

जिंदगी का है खाब तेरा साथ हो...
जगमगाते से दिन हो चांदनी रात हो ...

तुझसे शुरू हो मेरा सिल सिला...
फ़िर जिंदगी से न मुझको गिला...

तू फ़िर आज कह दे मेरी चाह है...
मंजिल तू ही शोना तू ही राह है...

ऐसा लगता है जैसे न आएगा कल...
जो तू चल सके तो मेरे साथ चल...

...भावार्थ

1 comment:

Meenu Khare said...

वाह बहुत खूब.